Bihar bhumi serve 2025

बिहार भूमि सर्वे 2025: डेट बढ़ा, जानें जमीन सर्वे का पूरा प्रोसेस

बिहार में जमीन से जुड़े विवादों को खत्म करने और डिजिटल रिकॉर्ड तैयार करने के लिए शुरू हुआ बिहार भूमि सर्वेक्षण अब चर्चा का विषय बना हुआ है। अगर आप भी बिहार के निवासी हैं और अपनी जमीन का सर्वे करवाना चाहते हैं, तो आपके लिए अच्छी खबर है। सरकार ने इसकी समय सीमा को बढ़ा दिया है, ताकि हर भूमि मालिक को मौका मिल सके। लेकिन सवाल यह है कि नई तारीख क्या है और जमीन सर्वे का पूरा प्रोसेस क्या है? आइए, इस ब्लॉग में इसे आसान और रोचक तरीके से समझते हैं।

बिहार भूमि सर्वे की नई तारीख: कब तक बढ़ा डेट?

Bihar bhumi serve 2025

बिहार सरकार ने भूमि सर्वेक्षण की समय सीमा को कई बार बढ़ाया है, ताकि लोग बिना जल्दबाजी के अपने दस्तावेज जमा कर सकें। ताजा अपडेट के मुताबिक, जुलाई 2026 तक जमीन सर्वे का काम पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन अब इसे दिसंबर 2026 तक बढ़ा दिया गया है। इसके अलावा, स्व-घोषणा पत्र (Self-Declaration Form) और वंशावली जमा करने की अंतिम तिथि 31 मार्च 2025 थी, जिसे भी कुछ और समय के लिए बढ़ाने की बात चल रही है। हालांकि, इसकी आधिकारिक पुष्टि अभी बाकी है।

राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री संजय सरावगी ने हाल ही में कहा कि लोगों की सुविधा के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से दस्तावेज जमा करने की प्रक्रिया को आसान बनाया जा रहा है। तो अगर आपने अभी तक अपनी जमीन का सर्वे नहीं करवाया है, तो अब आपके पास पर्याप्त समय है। लेकिन देर न करें, क्योंकि यह मौका बार-बार नहीं मिलेगा!

जमीन सर्वे का पूरा प्रोसेस: स्टेप-बाय-स्टेप गाइड
बिहार में जमीन सर्वे का प्रोसेस इतना जटिल नहीं है, जितना लोग समझते हैं। इसे आसान बनाने के लिए सरकार ने ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों विकल्प दिए हैं। आइए, इसे स्टेप-बाय-स्टेप समझते हैं:

1. जरूरी दस्तावेज तैयार करें
सर्वे शुरू करने से पहले आपको कुछ जरूरी कागजात इकट्ठा करने होंगे। ये दस्तावेज आपकी जमीन के मालिकाना हक को साबित करेंगे। इनमें शामिल हैं:
आधार कार्ड: आपकी पहचान के लिए।

जमीन के पुराने कागजात: जैसे खतियान, जमाबंदी, या रजिस्ट्री डीड।

वंशावली: अगर जमीन आपके पूर्वजों के नाम पर है।

मृत्यु प्रमाण पत्र: अगर जमीन पिछले मालिक के नाम पर थी और अब उनकी मृत्यु हो चुकी है।

मोबाइल नंबर: ऑनलाइन प्रक्रिया के लिए जरूरी।
टिप: अगर आपकी जमीन पर कोई विवाद है, तो कोर्ट के आदेश की कॉपी भी साथ रखें।

2. स्व-घोषणा पत्र भरें (प्रपत्र 2)

सर्वे के लिए आपको स्व-घोषणा पत्र (प्रपत्र 2) भरना होगा। इसमें आपको अपनी जमीन की पूरी डिटेल देनी होगी, जैसे:
रैयत का नाम और पिता का नाम

खाता और खेसरा नंबर

जमीन का क्षेत्रफल (रकवा)

जमीन का प्रकार (खेती योग्य, बंजर, आदि)

जमीन कैसे मिली (विरासत, खरीद, आदि)
यह फॉर्म आप ऑनलाइन पोर्टल या स्थानीय अंचल कार्यालय से ले सकते हैं।

3. वंशावली जमा करें (प्रपत्र 3)

अगर जमीन आपके परिवार में पीढ़ियों से चली आ रही है, तो वंशावली (प्रपत्र 3) भरना जरूरी है। इसमें आपको अपने परिवार के सदस्यों का नाम और जमीन से उनका संबंध बताना होगा। अगर आपके पास वंशावली बनाने की सुविधा नहीं है, तो सादे कागज पर लिखकर हस्ताक्षर के साथ जमा कर सकते हैं।

4. ऑनलाइन या ऑफलाइन आवेदन करें

अब आपके पास दो रास्ते हैं:
ऑनलाइन:
बिहार सरकार की वेबसाइट dlrs.bihar.gov.in पर जाएं।

“बिहार सर्वे ट्रैकर” ऐप डाउनलोड करें या वेबसाइट पर लॉगिन करें।

फॉर्म भरें और स्कैन किए हुए दस्तावेज अपलोड करें।

सबमिट करें और आवेदन नंबर नोट कर लें।
ऑफलाइन:
अपने नजदीकी अंचल कार्यालय या सर्वे कैंप में जाएं।

फॉर्म और दस्तावेज जमा करें।

रसीद जरूर लें।

5. सर्वे टीम का दौरा

दस्तावेज जमा करने के बाद सर्वे टीम आपके घर आएगी। वे नक्शे के साथ जमीन का मिलान करेंगे और जरूरी जानकारी रिकॉर्ड करेंगे। इस दौरान आपको मौजूद रहना चाहिए, ताकि कोई गलती न हो।

6. आपत्ति दर्ज करें (अगर जरूरी हो)

सर्वे पूरा होने के बाद रिपोर्ट पंचायत या अंचल स्तर पर सार्वजनिक की जाएगी। अगर आपको कोई गलती नजर आए, तो 90 दिनों के अंदर अपनी आपत्ति दर्ज कर सकते हैं। इसके लिए बंदोबस्त पदाधिकारी से संपर्क करें।

7. अंतिम रिकॉर्ड और प्रॉपर्टी कार्ड

सभी आपत्तियों का निपटारा होने के बाद अंतिम अधिकार अभिलेख तैयार होगा। इसके आधार पर आपको डिजिटल प्रॉपर्टी कार्ड मिलेगा, जो आपकी जमीन का आधिकारिक प्रमाण होगा।

क्यों जरूरी है बिहार भूमि सर्वे?

विवादों का अंत: सटीक रिकॉर्ड से जमीन के झगड़े कम होंगे।

डिजिटल सुविधा: ऑनलाइन रिकॉर्ड से जमीन की जानकारी कभी भी, कहीं भी चेक कर सकते हैं।

विकास में मदद: सही डेटा से सरकार को योजनाएं बनाने में आसानी होगी।
टिप्स: सर्वे को आसान बनाएं
दस्तावेज पहले से तैयार रखें: इससे समय बचेगा।

ऑनलाइन ट्राई करें: ऑफलाइन की भीड़ से बचें।

सर्वे टीम से संपर्क में रहें: कोई शंका हो तो तुरंत पूछें।

बिहार भूमि सर्वे 2025 एक सुनहरा मौका है अपनी जमीन को सुरक्षित करने का। नई समय सीमा दिसंबर 2026 तक बढ़ने से आपके पास अब पर्याप्त वक्त है। तो देर न करें, आज ही प्रोसेस शुरू करें और अपनी जमीन का मालिकाना हक डिजिटल रूप में हासिल करें। क्या आपके पास कोई सवाल है? नीचे कमेंट करें, हम आपकी मदद करेंगे!

By Abhishek Anjan

I am a mass communication student and passionate writer. With the last four -year writing experience, I present intensive analysis on politics, education, social issues and viral subjects. Through my blog, I try to spread awareness in the society and motivate positive changes.

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