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India मे 180 Pakistan मे 170 परमाणु तो चीन के पास कितना होगा सोचिए?

परमाणु हथियार वैश्विक सुरक्षा और शक्ति संतुलन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। ये हथियार न केवल किसी देश की सैन्य शक्ति को दर्शाते हैं, बल्कि वैश्विक राजनीति और कूटनीति में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। भारत के पास 180 परमाणु हथियार और पाकिस्तान के पास 170 परमाणु हथियार होने की बात सामने आती है, तो स्वाभाविक रूप से यह सवाल उठता है कि चीन के पास कितने परमाणु हथियार हैं और विश्व में सबसे अधिक परमाणु हथियार किस देश के पास हैं। इस ब्लॉग में हम इन सवालों का जवाब तथ्यों और आंकड़ों के आधार पर देंगे, साथ ही वैश्विक परमाणु शक्ति के परिदृश्य को समझने की कोशिश करेंगे।

चीन के परमाणु हथियार: एक बढ़ता हुआ शस्त्रागार

2025 तक के नवीनतम अनुमानों के अनुसार, चीन के पास लगभग 600 परमाणु हथियार हैं। यह आंकड़ा स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) और फेडरेशन ऑफ अमेरिकन साइंटिस्ट्स (FAS) जैसे विश्वसनीय स्रोतों से लिया गया है। 2023 में यह संख्या 500 थी, जो 2021 में 400 से भी कम थी, जिससे पता चलता है कि चीन अपने परमाणु शस्त्रागार को तेजी से बढ़ा रहा है। पेंटागन की एक रिपोर्ट के अनुसार, चीन 2030 तक अपने परमाणु हथियारों की संख्या को 1,000 तक ले जा सकता है। यह वृद्धि चीन की रणनीतिक नीति का हिस्सा है, जिसमें वह “न्यूनतम प्रतिरोध” (minimum deterrence) की नीति से हटकर एक मजबूत परमाणु त्रिक (nuclear triad) विकसित कर रहा है, जिसमें जमीन, समुद्र और वायु-आधारित परमाणु हथियार शामिल हैं।

चीन ने 1964 में पहला परमाणु परीक्षण किया था और तब से वह अपनी परमाणु क्षमता को लगातार मजबूत कर रहा है। हाल के वर्षों में, चीन ने नए इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) साइलो फील्ड्स का निर्माण किया है और अपनी नौसेना में जिन-क्लास पनडुब्बियों को शामिल किया है, जो परमाणु मिसाइलों को ले जाने में सक्षम हैं। इसके अलावा, चीन की “नो फर्स्ट यूज” (No First Use) नीति, जिसके तहत वह पहले परमाणु हमला नहीं करने का वादा करता है, उसकी रणनीति का आधार रही है। हालांकि, कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि चीन की बढ़ती परमाणु क्षमता इस नीति पर सवाल उठा सकती है।

विश्व में परमाणु हथियारों का वितरण

विश्व में कुल मिलाकर लगभग 12,331 परमाणु हथियार हैं, जो नौ देशों के पास हैं। इन देशों में रूस, संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन, फ्रांस, यूनाइटेड किंगडम, भारत, पाकिस्तान, इजरायल और उत्तर कोरिया शामिल हैं। इनमें से रूस और संयुक्त राज्य अमेरिका वैश्विक परमाणु शस्त्रागार का लगभग 87% हिस्सा रखते हैं। आइए, इन देशों के परमाणु हथियारों की संख्या पर एक नजर डालें:

रूस: रूस के पास 5,449 परमाणु हथियार हैं, जो विश्व में सबसे अधिक हैं। इनमें से 1,458 सक्रिय रूप से तैनात हैं, जबकि बाकी भंडारण में हैं या निष्क्रिय करने की प्रक्रिया में हैं।

संयुक्त राज्य अमेरिका: अमेरिका के पास 5,277 परमाणु हथियार हैं, जिनमें 1,419 सक्रिय रूप से तैनात हैं। अमेरिका ने अपने परमाणु शस्त्रागार को शीत युद्ध के बाद से धीरे-धीरे कम किया है, लेकिन यह अभी भी एक प्रमुख शक्ति है।

चीन: जैसा कि पहले उल्लेख किया गया, चीन के पास 600 परमाणु हथियार हैं।

फ्रांस: फ्रांस के पास 290 परमाणु हथियार हैं, जो मुख्य रूप से समुद्र-आधारित बैलिस्टिक मिसाइलों पर तैनात हैं।

यूनाइटेड किंगडम: यूके के पास 225 परमाणु हथियार हैं, जो ट्राइडेंट पनडुब्बी-लॉन्च बैलिस्टिक मिसाइलों पर निर्भर हैं।

भारत: भारत के पास 180 परमाणु हथियार हैं, और यह अपनी परमाणु क्षमता को बढ़ाने पर ध्यान दे रहा है, खासकर चीन के साथ बढ़ते तनाव के मद्देनजर।

पाकिस्तान: पाकिस्तान के पास 170 परमाणु हथियार हैं, जो भारत के साथ क्षेत्रीय प्रतिद्वंद्विता के कारण लगातार बढ़ रहे हैं।

इजरायल: इजरायल के पास 90 परमाणु हथियार होने का अनुमान है, हालांकि वह अपनी परमाणु स्थिति को आधिकारिक तौर पर स्वीकार नहीं करता।

उत्तर कोरिया: उत्तर कोरिया के पास 50 से 90 परमाणु हथियार होने का अनुमान है, और यह अपने परमाणु कार्यक्रम को राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति के केंद्र में रखता है।

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सबसे अधिक परमाणु हथियार किसके पास?

रूस, 5,449 परमाणु हथियारों के साथ, विश्व में सबसे अधिक परमाणु हथियारों वाला देश है। शीत युद्ध के दौरान, सोवियत संघ ने 1986 में अपने परमाणु शस्त्रागार को 40,000 से अधिक हथियारों तक बढ़ा लिया था। हालांकि, इसके बाद रूस और अमेरिका ने न्यू START जैसे समझौतों के तहत अपने शस्त्रागार को कम किया है। फिर भी, रूस और अमेरिका के पास वैश्विक परमाणु हथियारों का 90% हिस्सा है, जो उनकी सैन्य और कूटनीतिक प्रभुत्व को दर्शाता है।

 

By Abhishek Anjan

I am a mass communication student and passionate writer. With the last four -year writing experience, I present intensive analysis on politics, education, social issues and viral subjects. Through my blog, I try to spread awareness in the society and motivate positive changes.

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